कृष्ण जन्माष्टमी के अवसर पर मोरपंख रखने की परंपरा कई स्थानों पर देखने को मिलती है। मोरपंख को श्रीकृष्ण से विशेष रूप से जोड़ा जाता है, क्योंकि भगवान श्रीकृष्ण अपने मुकुट में इसे धारण करते थे। इसे शुभ और सकारात्मक ऊर्जा का प्रतीक माना जाता है। यहां मोरपंख रखने के कुछ लाभ बताए गए हैं:
1. सकारात्मक ऊर्जा का वास:
- मोरपंख को घर में रखने से सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है। यह नकारात्मक ऊर्जा और बुरी नजर को दूर करने में सहायक माना जाता है।
2. धन और समृद्धि में वृद्धि:
- मान्यता है कि मोरपंख को घर में रखने से लक्ष्मी माता की कृपा प्राप्त होती है और धन, समृद्धि, और खुशहाली बढ़ती है। इसे विशेष रूप से तिजोरी या धन रखने वाले स्थान पर रखने की परंपरा है।
3. वास्तु दोष का निवारण:
- मोरपंख को घर के मुख्य दरवाजे या पूजास्थल पर रखने से वास्तु दोष समाप्त होते हैं। यह घर में सुख-शांति बनाए रखने में मदद करता है और परिवार के सदस्यों के बीच प्रेम और सामंजस्य को बढ़ाता है।
4. बुद्धि और शिक्षा में उन्नति:
- विद्यार्थियों के लिए मोरपंख को किताबों या अध्ययन कक्ष में रखना शुभ माना जाता है। यह ज्ञान और बुद्धि में वृद्धि करता है और शिक्षा में सफलता दिलाने में सहायक होता है।
5. सांप और कीड़ों से सुरक्षा:
- प्राचीन मान्यता के अनुसार, मोरपंख को घर में रखने से सांप और विषैले कीड़ों का भय नहीं रहता। इसे घर के किसी कोने में रखने से ये जीव पास नहीं आते।
6. मन की शांति और तनाव से मुक्ति:
- मोरपंख को ध्यान या पूजा के स्थान पर रखने से मन की शांति मिलती है और तनाव कम होता है। यह मानसिक संतुलन बनाए रखने में सहायक होता है।
7. श्रीकृष्ण का आशीर्वाद:
- मोरपंख को भगवान श्रीकृष्ण से जुड़े होने के कारण धार्मिक दृष्टि से अत्यंत शुभ माना जाता है। इसे घर में रखने से भगवान कृष्ण की कृपा बनी रहती है और जीवन में सुख, शांति, और आनंद की प्राप्ति होती है।
कृष्ण जन्माष्टमी के अवसर पर मोरपंख रखने से जुड़े ये लाभ घर में सुख, समृद्धि, और सकारात्मकता लाने में मददगार हो सकते हैं। यह न केवल धार्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण है, बल्कि वास्तु और मानसिक शांति के लिए भी लाभकारी माना जाता है।
